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👶 प्रारंभिक जीवन और परिवार
सचिन तेंदुलकर का जन्म 24 अप्रैल 1973 को मुंबई के दादर क्षेत्र में हुआ था। उनके पिता रमेश तेंदुलकर एक प्रसिद्ध मराठी साहित्यकार थे और मां रजनी तेंदुलकर बीमा कंपनी में कार्यरत थीं। सचिन बचपन से ही बेहद जिज्ञासु और ऊर्जावान थे।
उनके भाई अजीत तेंदुलकर ने उनकी क्रिकेट प्रतिभा को पहचाना और उन्हें प्रसिद्ध कोच रमाकांत आचरेकर के पास भेजा। यहीं से सचिन के क्रिकेट सफर की शुरुआत हुई।
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🏫 शिक्षा और क्रिकेट की शुरुआत
सचिन तेंदुलकर ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा शारदाश्रम विद्यालय से पूरी की, जो उस समय क्रिकेट के लिए मशहूर स्कूलों में गिना जाता था। स्कूल स्तर पर खेलते हुए उन्होंने कई रिकॉर्ड बनाए, जिनमें विनोद कांबली के साथ 664 रन की साझेदारी खास रही।
साल 1989 में महज़ 16 वर्ष की उम्र में उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ अपना पहला अंतरराष्ट्रीय टेस्ट मैच खेला। उनकी निडर बल्लेबाज़ी और तकनीकी कुशलता ने क्रिकेट विशेषज्ञों का ध्यान अपनी ओर खींचा।
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🏆 क्रिकेट करियर और ऐतिहासिक रिकॉर्ड्स
सचिन तेंदुलकर ने अपने 24 साल के क्रिकेट करियर में भारत को कई यादगार जीतें दिलाईं। उन्होंने 200 टेस्ट मैचों में 15,921 रन और 463 वनडे मैचों में 18,426 रन बनाए। वे दुनिया के पहले ऐसे बल्लेबाज बने जिन्होंने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में 100 शतक लगाए।
2010 में वह वनडे क्रिकेट में दोहरा शतक बनाने वाले पहले खिलाड़ी बने। साल 2011 में भारत ने वर्ल्ड कप जीता, जो उनके करियर का सबसे भावुक क्षण रहा।
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👨👩👧👦 निजी जीवन और परिवार
सचिन ने 1995 में डॉक्टर अंजलि मेहता से विवाह किया। उनके दो बच्चे हैं – बेटी सारा तेंदुलकर और बेटा अर्जुन तेंदुलकर। अर्जुन ने भी क्रिकेट को करियर के रूप में चुना है और घरेलू क्रिकेट में मुंबई की ओर से खेलते हैं।
सचिन का पारिवारिक जीवन हमेशा शांत और निजी रहा है। वे अपने माता-पिता और भाई-बहनों के बेहद करीब हैं।
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🏅 पुरस्कार और सम्मान
सचिन तेंदुलकर को भारत सरकार और अंतरराष्ट्रीय संगठनों से कई बड़े पुरस्कार मिले हैं। उन्हें 2014 में भारत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न दिया गया। इसके अलावा उन्हें राजीव गांधी खेल रत्न, पद्म श्री, पद्म विभूषण जैसे प्रतिष्ठित पुरस्कार भी मिले।
उन्होंने अपने खेल जीवन में जिस अनुशासन और समर्पण का परिचय दिया, वह आज भी खिलाड़ियों के लिए प्रेरणा का स्रोत है।
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📘 आत्मकथा – ‘Playing It My Way’
सचिन तेंदुलकर की आत्मकथा ‘Playing It My Way’ 2014 में प्रकाशित हुई। इस किताब में उन्होंने अपने बचपन, संघर्ष, चयन, चोटों, रिकॉर्ड्स और वर्ल्ड कप जीत तक की पूरी यात्रा का विवरण दिया है। यह किताब लाखों प्रतियों में बिकी और बेस्टसेलर साबित हुई।
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⏳ संन्यास और वर्तमान योगदान
2013 में सचिन ने क्रिकेट से संन्यास लिया। उनकी विदाई पर वानखेड़े स्टेडियम में भावनाओं का सैलाब उमड़ पड़ा। संन्यास के बाद वे राज्यसभा के सदस्य बने और कई सामाजिक कार्यों से जुड़े।
आज वे युवाओं को प्रेरित करने का काम करते हैं और कई खेल परियोजनाओं व क्रिकेट अकादमियों से जुड़े हुए हैं। वे इंडियन प्रीमियर लीग में मुंबई इंडियंस के साथ मेंटर के रूप में भी सक्रिय हैं।
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📊 प्रमुख जानकारी
पूरा नाम – सचिन रमेश तेंदुलकर
जन्म – 24 अप्रैल 1973, मुंबई
डेब्यू – 1989 बनाम पाकिस्तान
टेस्ट रन – 15,921
वनडे रन – 18,426
कुल शतक – 100
पत्नी – डॉ. अंजलि तेंदुलकर
बच्चे – सारा और अर्जुन तेंदुलकर
रिटायरमेंट – नवंबर 2013
प्रमुख सम्मान -भारत रत्न, पद्म विभूषण, राजीव गांधी खेल रत्न
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🙏 निष्कर्ष
सचिन तेंदुलकर का जीवन केवल क्रिकेट के लिए नहीं, बल्कि हर क्षेत्र के युवाओं के लिए प्रेरणा है। उनका समर्पण, अनुशासन और देशभक्ति की भावना उन्हें एक महान खिलाड़ी ही नहीं, बल्कि एक महान इंसान भी बनाती है।